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Santosh Kumar
@Skm471992
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जीव हमारी जाती है मानव धर्म हमारा हिंदू, मुस्लिम, सिख, इसाई धर्म नहीं कोई न्यारा
Chhattisgarh India
Joined January 2020
RT @PuranikSahu9: यह दोनों धर्मों हिंदुओं और मुसलमानों में ��पसी भाईचारे व सद्भावना की एक मिसाल का प्रमाण है। गरीब, बिरसिंघ बघेला करै बीनती…
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RT @PuranikSahu9: #कबीर_परमेश्वर_निर्वाण_दिवस आदरणीय मलूकदास जी कहते हैं कि परमेश्वर कबीर जी मगहर से सशरीर सतलोक गए। जपो रे मन सतगुरु नाम क…
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#IdentityOfGod माघ माह शुक्ल पक्ष तिथि एकादशी विक्रम संवत 1575 (सन 1518) को कबीर साहेब ने एक चादर नीचे बिछाई और एक ऊपर ओढ़ ली। कुछ फूल कबीर साहेब के नीचे वाली चादर पर दो इंच मोटाई में बिछा दिये। थोड़ी देर में आकाशवाणी हुई कि मैं तो सतलोक जा रहा हूँ। 1 Day Left Nirvan Diwas
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#IdentityOfGod परमेश्वर कबीर जी माघ महीना शुक्ल पक्ष तिथि एकादशी विक्रम संवत 1575 (सन 1518) को सतलोक सशरीर गये। कबीर साहेब अविनाशी हैं। सशरीर प्रकट होते हैं, सशरीर चले जाते हैं - प्रमाण ऋग्वेद मण्डल 9 सूक्त 93 मंत्र 2, मण्डल 10 सूक्त 4 मंत्र 3 1 Day Left Nirvan Diwas
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#IdentityOfGod हिन्दू व मुसलमान में जो भाईचारे, धार्मिक सामंजस्�� का बीज परमेश्वर कबीर जी बो गए थे, उसकी मिसाल मगहर में आज भी देखी जा सकती है। मगहर से परमेश्वर कबीर जी सशरीर सतलोक गए थे। उस स्थान पर हिन्दू व मुसलमानों ने मंदिर व मजार 100 - 100 फुट की दूरी में यादगार बना रखी है।
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#IdentityOfGod कबीर परमेश्वर मगहर से सशरीर सतलोक गए। उनके शरीर के स्थान पर सुगंधित फूल पाए गए जो कबीर परमेश्वर की आज्ञा के अनुसार दोनों धर्मों ने आपस में लेकर मगहर में 100 फुट के अंतर से एक-एक यादगार बनाई जो आज भी विद्यमान है। 1 Day Left Nirvan Diwas
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#IdentityOfGod सन् 1518 वि. स. 1575, महीना माघ, शुक्ल पक्ष तिथि एकादशी को कबीर साहेब जी मगहर से सशरीर सतलोक गये थे परमात्मा कबीर जी चार दाग से न्यारे हैं। चदरि फूल बिछाये सतगुरु, देखे सकल जिहाना हो। च्यारि दाग से रहत जुलहदी, अविगत अलख अमाना हो।। 1 Day Left Nirvan Diwas
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#IdentityOfGod कीन्हा मगहर पियाना सतगुरु, कीन्हा मगहर पियाना हो। दोनो दीन चले संग जाके, हिन्दू-मुसलमाना हो।। माघ महीना शुक्ल पक्ष तिथि एकादशी वि.सं.1575 सन् 1518 को अविनाशी परमात्मा कबीर साहेब मगहर से सशरीर सतलोक गये। 1 Day Left Nirvan Diwas
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