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Naushad khan

@Naushadkhan5577

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@Naushadkhan5577
Naushad khan
2 years
शुक्र है उस ' रब' का जिसने.. धोखा़ खाने वालों मे रखा .. धोखा़ देने वालों में नहीं....
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@Naushadkhan5577
Naushad khan
2 years
आप लोगों से गुजा़रिश है
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@Naushadkhan5577
Naushad khan
1 year
اسلام وعلیکم.. जिन्दगी में हमेशा वो लोग पूर-शुकून रहते है जो पुरी ना होने वाली ख्वाहिश़ से ज्यादा उन नेमतों पर शुक्र अदा करते हैं जो उन्हें मेरे **रब **ने अता की हैं..! **الحمد اللہ رب العلمین**
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@Naushadkhan5577
Naushad khan
2 years
***اسلام وعلیکوم*** आप अगर नमाज़ के पाबन्द हो तो यकिन मानो मेरे**अल्लाह** ने आपको इस जहांन की सबसे बडी़ नेयमत अता कर रखी है...!
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@Naushadkhan5577
Naushad khan
2 years
Asslam walaikum... ऐ मेरे **अल्लाह**मेरे **परवरदिगा़र**! वह मामलात जिनमें मेरा इख़्तियार नहीं जहां मैं बेबश हूं ..उनमें मेरी मदद फ़रमा और मुझे अकेला मत छोड़...! आमीन्..
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@Naushadkhan5577
Naushad khan
1 year
السلام علیکم۔۔۔۔ ऐ मेरे **अल्लाह** मेरी दुआओं में वो असर दे दे .. मैंं मांगू तुझसे क़तरा और तू समन्दर दे दे..!
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@Naushadkhan5577
Naushad khan
2 years
Asslam walaikum.. ऐ लोगों.. अपने *रब* से कभी नां उम्मीद मत होना कल का दिन आज से बेहतर होगा.. "इंशाअल्लाह:..!
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@Naushadkhan5577
Naushad khan
2 years
दिल से निकलेगी ना मर कर भी वतन की उल्फत.. मेरी मिट्टी से भी खुशबू-ए- वफा आयेगी..
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@Naushadkhan5577
Naushad khan
2 years
कौन कहता है मेरा *रब* नज़र नहीं आता.. एक़ वही तो नज़र आता है जब कुछ नज़र नहीं आता..!
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@Naushadkhan5577
Naushad khan
1 year
#السلام وعلیکم ورحمتہ اللہ وبرکاتہ ** हवायें मौसम का और दुआऐं मुसीबत का रूख़ बदल देती है इसलिए दुआऐं मांगते और देते रहा करें...!
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@Naushadkhan5577
Naushad khan
2 years
ऐ मेरे **अल्लाह ** मुझे मेरे नफ़्श़ के हवाले ना होने देना मुझे अपने नेक़ बन्दों में रखना या **रब ** मुझ पे रहम फरमा...!
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@Naushadkhan5577
Naushad khan
2 years
Asslam walaikum.. ऐ मेरे **अल्लाह** मेरी इज्जत के लिए यही काफी है मैं तेरा बन्दा हूं और मेरे फ़ख़र के लिए ये ही काफी है कि तु मेरा **रब** है तू वैसा ही है जैसा मैं चाहता हूं , बस तू मुझे वैसा बना दे जैसा तू चाहता है...! "आमीन् ,,
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@Naushadkhan5577
Naushad khan
2 years
Asslam walaikum *अल्लाह* मेरी किस्मत मे भी ऐसा सजदा कर दे जो मेरे गुनाहो का मदावा कर दे दुनिया से चुरा कर अपना कर दे मेरी मिट्टी को 'खु़दाया' सोना कर दे मै तेरा चाहने वाला हू मगर है हसरत जिनको तू चाहता है मुझे वैसा कर दे इक नजर गुनहगार पे करके अपनी रहमत का हकदार तू कर दे मौला.!
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@Naushadkhan5577
Naushad khan
2 years
*अल्लाह * फ़रमाता है..सारी दुनिया घुम, धोखे़ खा,चोट खा, टुट जा...! फिर मुझे पुकारना .. मैं तुम्हे संभाल लूंगा..,
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@Naushadkhan5577
Naushad khan
1 year
जब मेरा **अल्लाह ** अपने बन्दे से राजी़ होने लगता है तो बन्दे को अपने ऐबों का पता चलने लगता है और ये मेरे **रब **की रहमत की पहली निशानी होती है...!
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@Naushadkhan5577
Naushad khan
2 years
मेरा *अल्लाह* फ़रमाता है.. तू मेरा हो कर तो देख़, सब कुछ तेरा ना कर दूं तो कहना..!
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@Naushadkhan5577
Naushad khan
2 years
या अल्लाह मुझे इतना दे कि मेरे सामने कोई बेसहारा हाथ फैलाये तो उसे मैं खाली हाथ नां लौटाऊं । " आमीन,,
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@Naushadkhan5577
Naushad khan
2 years
मकडी़ के जालों से भी कमजोर हैं दुनिया के सहारे.. ऐ मेरे **अल्लाह** मुझे हर वक्त तू.. अपनी ही पनाह में रखना...! आमीन्..
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@Naushadkhan5577
Naushad khan
2 years
Asslam walaikum *صبح بجیر* अच्छे लोग हमेशा याद रहते हैं..दिलों में भी, लफ़्जों में भी और दुवाओं में भी ऐ बुलंदीयों के* बादशाह* ! ऐ *रब का़यनात*! मेरे प्यारों को हमेशा खुश और आबाद रखना, *अल्लाह* करे की आपका दाम़न हमेशा खुशियों और मुहब्बतों से भरा रहे,,
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@Naushadkhan5577
Naushad khan
1 year
मेरे ** अल्लाह*** बस इतनी सी दुआ है या ** रब** जो जिन्दगी अजा़न से शुरू हुई है उसे कलमा पर खत्म करना...! आमीन्
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@Naushadkhan5577
Naushad khan
1 year
अलहम्दुलिल्लाह...मैं बहोत खुश हूं क्योंकि मुझे किसी से उम्मीद नहीं है मेरे **अल्लाह** के सिवा...!
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@Naushadkhan5577
Naushad khan
2 years
Asslam walaikum.. रिज़्क़ और मौत का खौ़फ़ नां रखो ये मेरे "अल्लाह"के इख़्तियार में है नां कोई रिज़्क़ छिन सकता है नां कोई मौत दे सकता है .. सिवाए मेरे "रब" के...!
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@Naushadkhan5577
Naushad khan
2 years
अच्छी बातों के साथ-साथ अपने आमाल भी अच्छे करो.. क्यूंकि अच्छी बातें तो बुरे लोग भी करते हैं..!
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@Naushadkhan5577
Naushad khan
1 year
***السلام وعلیکم*** **अल्लाह** पर भरोसा करते हो ना..? तो फिर क्यूं अपनी किस्मत से डरते हो अपने ** रब ** पर यकिन करें... वह आपको लड़खडा़ता हुआ देख रहा है और वो आपको कभी गिरने नहीं देता...!
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@Naushadkhan5577
Naushad khan
1 year
यह ना देखें कि आपकी परीशानी कितनी बडी़ है ये देखें कि परीशानी को हल करने वाला कितना बडा़ है... *अल्लाह तआला* आपको ताहयात अच्छी सेहत ,बेहिसाब हलाल रिज़्क और इज्ज़त से मालामाल फरमायें ...!
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@Naushadkhan5577
Naushad khan
2 years
मेरा ***अल्लाह *** अपने उस बन्दे को कभी उदास नहीं करता जो अपने सारे फैसले अपने **रब ** पर छोड़ देता है...!
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@Naushadkhan5577
Naushad khan
1 year
**अल्लाह *** बेहतर करेगा ये वो अल्फाज़ हैं जिस से इंसान की आधी परेशानी दूर हो जाती है...!
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@Naushadkhan5577
Naushad khan
2 years
मेरा **अल्लाह** फरमाता है... सब कुछ छोड़ कर अन्धा एतबार कर लो मुझ पर और ये यकीन करो मैं वादों का बडा़ सच्चा हूं...!
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@Naushadkhan5577
Naushad khan
1 year
दोस्तों मेरे भाईयों... जिंदगी का हर दिन हमें मौत के ओर करीब कर रहा है मैंने अपनी औका़त को बडे़ ही करिब से देखा तो पता चला कि चंद सांसों के सिवा कुछ भी नहीं है और वो भी *रब्बुल ईज्ज़त* की मोहताज़ है! तो फिर इंसान को गुरूर किस बात का है मरने के बाद भी लोगों के कांधे पर जायेगा.! '?'
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@Naushadkhan5577
Naushad khan
2 years
किसी ने पुछा इस दुनिया में आपका अपना कौन है, मैंने हंसकर कहा 'वक्त, अगर सही है तो सब अपने वरना कोई भी नहीं,,
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@Naushadkhan5577
Naushad khan
2 years
Asslam walaikum **ऐ रब्बे जु़ल्जलाल**अदल व इंसाफ कायम करने और रहम फरमाने वाले मैं बेबस हूं ग़मगीन हूं तन्हा हूं मुझे इस फा़नी दुनिया में अपनी रहमत से कभी दुर नां रखना मदद फरमां रहम फ़रमां सिर्फ तुझसे मदद मांगता हूं मैं और तेरी ही इबादत करता हूं मुझे शैतान के सर से महफु़ज रखना.!
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@Naushadkhan5577
Naushad khan
1 year
*السلام وعلکم ورحمتہ اللہ و برکاتہ* صبح بخیر* बारगाह-ए ईलाही में दुआ है कि *अल्लाह*रब्बुल* ईज्ज़त आप तमाम मेरे भाईयों, दोस्तों, बहनों की हर नेक़ तमन्ना पुरी करे, सेहत अता फरमायें,खुशियां नसीब करें, किसी का मोहताज़ ना करें और हमेशा अपनी पनाह में रखें... "आमीन् या *रब्बुल* आलमीन्"
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@Naushadkhan5577
Naushad khan
1 year
Asslam walaikum.. हज़रत अली र० ने फरमाया जो सख़्श आपको अच्छा लगे उससे बहोत कम मिला करो ,जो इंतहा से ज्यादा अच्छा लगे उसे सिर्फ देखा करो,और जो दिल में समां जाये उसे सिर्फ याद किया करो, क्यूंकि जो आपके जितना करीब होता है ये दुनिया वाले उसे उतना ही दुर कर देते हैं...!
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@Naushadkhan5577
Naushad khan
2 years
Asslam walaikum ऐ मेरे *अल्लाह* हम तेरी पनाह चाहते है हर बुरे दिन से हर बुरी रात से हर बुरे लम्हे से आने वाले वक्त की आफत मुसीबत परेशानी गम दुख और हर किस्म की बिमारीयो से हमको हर लम्हे अपनी हिफ्ज व अमान मे रख दुनिया के तमाम मुसलमानो को शीरातल मुश्तकीम पे चलने की तौफिक अता कर आमीन
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@Naushadkhan5577
Naushad khan
1 year
Asslam walaikum... ऐ लोगों.. ***अल्लाह **से करीब रहा करो और इन्सान से दूर क्योंकि इन्सान दिल तोड़ने में माहीर हैं और मेरा **अल्लाह ** दिल जोड़ने में..!
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@Naushadkhan5577
Naushad khan
2 years
आओ किसी शा़म मुझे टुट के बिख़रता देखो मेरी रगों में ज़हर ए जु़दाई उतरते देखो, किस किस अदा से तुम्हें मांगा है खु़दा से आओ कभी मुझे सज़दों मे सिसक़ता देखो,, N.A.Khan Azmi...
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@Naushadkhan5577
Naushad khan
2 years
Asslam walaikum... अच्छी सोच और अच्छी नियत वालों को सुकून ढुंढ़ना नहीं पड़ता उनके दिल हमेशा निख़री हुई सुबह की तरह रोश़न और पूर-शु़कून होते हैं..!
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@Naushadkhan5577
Naushad khan
1 year
**السلام وعلیکم ورحمة اللہ وبرکاتة** अपने **खा़लिक़** से अच्छा तआल्लुक़ और मख़्लुक़ से अच्छा बरताव मोमीन् की निशानी है खाना-पीना,सोना और सांस लेना ही जिन्दगी नहीं बल्कि दुसरों के दिलों में जिन्दा रहना उनकी दुवाओं में जिन्दा रहना ही असल जिंदगी है ...!
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@Naushadkhan5577
Naushad khan
1 year
السلام وعلیکم *صبح الخير हर किसी के पास सब कुछ नही होता,जो लोग जितने मुकम्मल नजर आते हैं वो उतने ही मुंतज़र होते है मौज्जो़ के वो लोग इतने मुतमईन और मुकम्मल नजर इसलिए आते हैं क्यूकि वो लोग अपने *रब* से तआल्लुक़ चटटानो की तरह मजबुत रखते हैं उन्हें *अल्लाह* पर पुरा यकिन होता है...!
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@Naushadkhan5577
Naushad khan
1 year
इंसान मायुश़ और परेशान उस वक्त होता है जब वो अपने **रब ** को राजी़ करने के बजाय लोगों को राजी़ करने लग जाता है...!
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@Naushadkhan5577
Naushad khan
1 year
۔۔۔۔۔۔۔۔۔۔۔السلام علیکم۔۔۔۔۔۔۔۔۔۔ عقل کی کروڑوں دلیلیں*اللہ* سے ایک بھی گناہ معاف نہیں کرا سکتیں۔۔ لیکن۔ ندامت۔ کا ایک انسو انسان کے زندگی بھر کے گناہ معاف کرا سکتا ہے۔۔ ***صبح بخیر***
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@Naushadkhan5577
Naushad khan
2 years
उस इन्सान की ताक़त का कोई मुका़बला नहीं कर सकता जिसके पास सब्र की ताक़त है....!
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@Naushadkhan5577
Naushad khan
1 year
*اسلام وعلیکم* ऐ रब ए का़यनात" इस बेताब नफ्स और कमजोर जिस्म पर रहम फरमा जो सुरज की तपिश को बर्दाश्त नही कर सकता वो जहन्नुम की आग को कैसे बर्दाश्त करेगा जिसे तेरी रहमत कीआदत है वो तेरी नाराज़गी का सामना कैसे करेगा 'या इलाही' हम सब पर रहम फरमा हमे माफ कर और हमसे राजी़ हो जा आमीन्
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@Naushadkhan5577
Naushad khan
1 year
अगर कोई आपको अहमीयत देना छोड़ दे तो आप उससे शिकायत करना छोड़ दें और खामोशी इख्तियार कर लें याद रहे हर वक्त दश्तयाब रहना, शिकायतें करना..आपकी अहमियत को घटाती है और भीक़ में तो बस खैरात मिलती है मुका़म, मर्तबह् , इज्ज़त और मुहब्बत नहीं...!
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@Naushadkhan5577
Naushad khan
2 years
Asslam walaikum.. आजा़द निगाह से ही इन्सान ज़लील होता है,अपनी नफ़्श के कदमों में खुद को रौल कर बे- तौकि़र कर देता है .. मगर जो सख़्श अपनी निगाह की हिफा़जत करता है तो मेरा ** अल्लाह **उस बन्दे को इज़्जत बख़्श देता है.. लोगों में भी और फरिश़्तों में भी...!
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@Naushadkhan5577
Naushad khan
1 year
Asslam walaikum.. लोग आपके खिलाफ साजिशें कर सकते है आपका बुरा चाह सकते है दिल भी दुखा सकते है आपसे आपका सब कुछ छीनने की कोशिश कर सकते है मगर छीन नही सकते क्योकि नसीब तक रशा़ई खालिक ने किसी और को नही दी मायुशी के लम्हों मे अपने*रब*को देखना सिखे वही है जो आपका बेहतरीन दोस्त है...!
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@Naushadkhan5577
Naushad khan
1 year
जानते हो... ताक़त के होते हुए किसी को माफ कर देना, गुस्से की हालत में सच बोलना,तंग-दस्ती में श़खा़वत करना... ये सब अफ़जल तरीन नेकी़यों में से है...!
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@Naushadkhan5577
Naushad khan
1 year
Asslam walaikum... जब मुसीबत पर शब्र कर लिया जाये तो वह बहोत जल्द खत्म हो जाती है लेकिन अगर उसी मुसीबत पर ***अल्लाह* की रजा़ समझ कर शुक्र कर लीया जाये तो वह मुसीबत बहोत जल्द खुशी में तब्दील हो जाती है ये बात सिर्फ अपने **रब ** पर तवक्कल की है...!
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@Naushadkhan5577
Naushad khan
2 years
मेरी इतनी औका़त नही की ज़न्नत मांगू या *रब*.. बस इतनी सी इल्तीजा़ है कि.. ज़हन्नुम से बचा ले या *रब*...!
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@Naushadkhan5577
Naushad khan
2 years
यूं वफाओं के सिलसिले मुसलसल ना रख किसी से लोग इक़ ख़ता के बदले सारी वफाऐं भुल जाते हैं...!
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@Naushadkhan5577
Naushad khan
2 years
सजा़ ए इश्क़ तो किसी आशिक़ से पुछिए ग़म ए जुदाई तो किसी काशि़फ़ से पुछिए मुहब्बत तो की थी सुकून ए जि़न्दगी के लिए क्या हाल करती है मुहब्बत जरा हमसे पूछिए..!
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@Naushadkhan5577
Naushad khan
2 years
पत�� है... जिन्दगी की हर ठोक़र ने बस इक़ ही शबक़ सिखाया है.. रास्ता कैसा भी हो सिर्फ अपने आप पर और अपने **रब** पर भरोसा रखें...!
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@Naushadkhan5577
Naushad khan
1 year
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@Naushadkhan5577
Naushad khan
2 years
पता है मुहब्बत क्या है... वो मेरा "रब" सारा दिन हमारे गुनाह देखता रहता है, और सुबह अपने ही फरिश्तों के हाथों हमारा रिज़्क भेजता है, बेश़क़ वही हमारा "اللہ" है,,
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@Naushadkhan5577
Naushad khan
1 year
Asslam walaikum.. दुआ करते वक्त ये कभी मत सोचो कि जो हम मांग रहे हैं वो मुम्किन है या नामुम्किन है.. बस ये याद रखो कि जिससे मांग रहे हो उसके लिए कुछ भी नामुमकीन नहीं है...!
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@Naushadkhan5577
Naushad khan
1 year
Asslam walaikum.. जब मेरा **अल्लाह **मुश्किल वक्त में कोई मद्दगार नहीं भेजता तो ये मत सोचो कि वो तुम्हें तन्हा छोड़ देगा.. जब तुम्हारे साथ कोई ना होगा तो उस वक्त वो खुद तुम्हारी मुश्किलात का हल बन कर मदद करता है मेरा *अल्लाह * कभी भी अपने बन्दों को तकलीफ मे तन्हा नहीं छोड़ता...!
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@Naushadkhan5577
Naushad khan
1 year
गलत बात पर गुस्सा ना आना शराफ़त की निशानी है ,लेकिन गुस्से को पी जाना इक़ मोमीन् की निशानी है ...!
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@Naushadkhan5577
Naushad khan
2 years
तुम नमाज़ नहीं पढ़ते तो ये मत सोचना की वक्त नहीं मिला.. मेरा *अल्लाह* जब नाराज़ होता है तो जान, माल नहीं छिनता.. वो तो बस .. सज़दे की तौफीक़ छीन लेता है..!
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@Naushadkhan5577
Naushad khan
2 years
परेशान नां हुआ करो.. ठोक़र उन्हीं को लगती है जिन्हें मेरा *अल्लाह*.. सम्भालना चाहता है...!
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@Naushadkhan5577
Naushad khan
2 years
*** السلام وعليكوم *** ऐ मेरे ** अल्लाह *** जिस तरह तू रात को दिन में दिन को रात में तब्दील करता है उसी तरह हमारी मुश्कि़लात को आसानी में, बिमारीयों को तन्दुरुस्ती में और नफ़रतों को मुहब्बत में तब्दील कर दे...! **आमीन्***
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@Naushadkhan5577
Naushad khan
2 years
*السلام وعلیکم * जब हम किसी से नाराज होकर उससे कहते है कि तुमने मेरा दिल तोडा या मेरा दिल टुट गया तब दर हकिकत दिल पर सिर्फ ठेश लगी होती हैऔर हम शिकवा कर रहे होते है जब दिल सच मे टुटता है तो खामोश हो जाते हैऔर किसी से शिकवा नही करते हमारे दरमियान का रिश्ता खत्म हो चुका होता है...!
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@Naushadkhan5577
Naushad khan
1 year
अगर कोई आपसे जलता है तो बजाऐ गुस्सा होने के उनकी ज़लन की कदर करो क्योंकि ये वो लोग हैं जो आपको खुद से बेहतर समझते हैं 'फ़रमान ए "हज़रत अली र.**
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@Naushadkhan5577
Naushad khan
1 year
सुनो... अगर आप शिदद्त से दुआ मांग रहे हो और आपको ऐसा लगता है कि आपकी दुआ क़बुल नहीं रही है तो आप मायुस ना हों अपने *रब* यकिन करें आपकी दुआ कबुल हो चुकी है, बस **अल्लाह ** आपको बेहतरीन वक्त पर देना चाहता है...!
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@Naushadkhan5577
Naushad khan
1 year
इक़ सच्चा इंसान इमानदार होता है वो हमेशा सच का ही साथ देता है चाहे उसे कितनी ही तक़लीफ क्यूं ना मीले.. लेकिन बुज़दील इंसान हमेशा झुठ और फरेब के पीछे छुप जाता है
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@Naushadkhan5577
Naushad khan
2 years
मैंने ��पनी किस्मत को *अल्लाह* पर छोड़ दिया है इसलिए नहीं कि वो बेहतर करेगा.. बल्कि इस लिए के *अल्लाह * से बेहतर कोई कर ही नहीं सकता...!
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@Naushadkhan5577
Naushad khan
2 years
Asslam walaikum... कुछ चीजें नसीब और हकीकत दोनों में नहीं होती लेकिन ** अल्लाह **पर यकिन और तवक्कुल से सब हो जाता है.. ���ो मेरा ** अल्लाह** फरमाता है तुम सब्र की इन्तहा कर दो और मैं रहमत की इन्तहा कर दूंगा... बेशक़ मेरा ** रब ** हर शै पर का़दिर है...!
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@Naushadkhan5577
Naushad khan
1 year
ऐसा नहीं कि नफ़्श का शैतान मर गया शैतान तो है जिंदा हां इंसान मर गया , सज़्दों में सर झुकाने की फुरसत नहीं रही मोमीन की रूह में बसा मुसलमान मर गया, मस्जिद तो पक्की बन गयी और शानदार भी कच्ची हैं *रब* से चाहतें और ईमान भी,, "अल्लामा इक़बाल"
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@Naushadkhan5577
Naushad khan
2 years
लोग समझते हैं कि 'नरम दिल' वाले बेवकुफ़ होते हैं,जबकि सच्चाई ये है कि वे बेवकुफ़ नहीं होते,वे बखुबी ये जानते हैं,कि लोग उनके साथ क्या कर रहे हैं, पर हर बार लोगों को माफ़ करना...! यह जा़हिर करता है कि वो इक़'खुबसूरत दिल'के मालिक़ हैंं और वे रिश्तों को संभालना जानते हैं..!
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24
@Naushadkhan5577
Naushad khan
1 year
**السلام وعلیکم ورحمتہ اللہ وبرکاتہ** ज़न्नत में ग़म,आँ‍सू,हसद् ,परेशानी, और खौफ़ नाम की कोई चीज नहीं होगी ,वहाँ‍ सिर्फ खुशी ,श़कुन,और ईतमीनान होगा.. **अल्लाह**हमें ज़न्नत में ले जाने वाले आमाल करने की तौफि़क़ अता फरमाऐं...! ،،آمین"
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26
@Naushadkhan5577
Naushad khan
2 years
मेरा स़बर अगर टुटे तो बस तेरे आगे.. मेरे *अल्लाह * मुझे स़बर का वो मुका़म दे..!
1
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25
@Naushadkhan5577
Naushad khan
1 year
#السلام علیکم ورحمتہ اللہ و برکاتہ# मुहब्बत के फुल तक़सीम करने वालों के दामन कभी भी खुशियों से खाली नहीं होते.. आज़माईशें इन्सान का हौसला बुलन्द करने के लिए के लिए आती हैं सबर और बरदाश्त करने वालों की **अल्लाह तआला ** जरुर मदद करता है.. दुआ है कि हमेशा मुस्कराते रहें ..आमीन्
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@Naushadkhan5577
Naushad khan
1 year
लोहा कभी खराब नहीं होता वह हमेशा अपने ही जंग से बर्बाद होता है इसी तरह इन्सान को कोई बर्बाद नहीं कर सकता सिर्फ उसकी सोच और दुसरों से की गयी उम्मीद ही उस को बर्बाद करती है...!
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@Naushadkhan5577
Naushad khan
2 years
Asslam walaikum.. जब इंसान बेहद तक़लीफ में होता है और मुस्कुरा कर ये कहता है कि मैनें ये मेरे *रब* के सुपुर्द किया तो यकिन मानें फ़र्श से अर्श़ तक हर चिज लरज़ जाती है और वो आह सीधे सातवें आसमान तक पहुंच जाती है ...!
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@Naushadkhan5577
Naushad khan
1 year
اسلام وعلیکم ورحمتہ اللہ وبرکاتہ** कौन कहता है मेरा **अल्लाह** नज़र नहीं आता मैंने देखा है उसे मेरी दुआ कुबूल करते हुए,मेरी परदा पोशी़ करते हुए, मुझे रिज़्क देते हुए,मेरी मुश्किलों मे मेरा हौसला बढा़ते हुए,जो मेरे गुमान में भी ना थे मैनें देखा है उसे मेरे लिए वशीला बनाते हुए ...!
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@Naushadkhan5577
Naushad khan
2 years
कर रहा था गम़ -ए जहां का हिसाब आज तुम बे-हिसाब याद आये...!
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@Naushadkhan5577
Naushad khan
1 year
Asslam walaikum.. अगर किसी को तक़लीफ में देखकर आपको भी तक़लीफ होने लगे तो आप अपने ** रब** के बनाये हुए बेहतरीन इंसान हो...!
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@Naushadkhan5577
Naushad khan
2 years
अगर किसी से मुहब्बत होने लगे तो सद़का़ दिया करो मुहब्बत होगी तो मिल जायेगी बला होगी तो टल जायेगी,,
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@Naushadkhan5577
Naushad khan
1 year
*السلام وعلیکم* जिसको यकिन आ जाये अपने *रब* पर उसकी हिक्मतो पर उसके फैसलो पर वो शख्स कभी भी ना तो टुटता है ना तो गिरता है और ना ही कभी लोगो के आगे झुकता है आप खामोशी से बगैर शिकवा किये अपने *अल्लाह*पर यकिन रखे हालात चाहे जैसे भी हों बदल ही जायेंगे मेरा *अल्लाह* गफुरूर रहीम है..!
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@Naushadkhan5577
Naushad khan
1 year
मुझे लोगो नेअपने रवैये से समझाया कि चाहतों में शिद्दत उम्र भर नहीं रहती किसी के लिए हम उम्र भर तज़श्शुस का पहलू बन कर नही रहते,कोई हर वक्त हमारे लिए मुंतज़र नही रहता,किसी के दिल में जिन्दगीभर वही मुका़म नही रहता हम तमाम उम्र अहम नही रहते वक्त बदलता है तो लोग बदल जाते है ...!
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@Naushadkhan5577
Naushad khan
2 years
**السلام عليکوم** लोगों को उसी तरह माफ कर दो जैसे कि तुम अपने *रब* से उम्मीद रखते हो कि वह तुम्हें माफ करेगा...!
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@Naushadkhan5577
Naushad khan
1 year
किसी से उतनी ही मुहब्बत करो जितनी वह आपसे करता है, क्यूकि किसी से बेहिसाब मुहब्बत इंसान की ज़हनी बरबादी का श़बब बन जाती है...!
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@Naushadkhan5577
Naushad khan
2 years
Asslam walaikum
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@Naushadkhan5577
Naushad khan
1 year
मिलना और बिछड़ना जिंदगी का हिस्सा है लेकिन बिछडने के बाद मिलना जिंदगी की उम्मीद कहलाता है, फासला किसी रिश्ते को जुदा नहीं कर सकता और वक्त किसी नये रिश्ते की तख्लीक़ नहीं करता, अगर ज़ज्बात सच्चे हो तो रिश्ते हमेशा कायम रहते हैं ...!
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@Naushadkhan5577
Naushad khan
2 years
इश्क़ वो नहीं होता जो तुम्हें मेरा कर दे.. इश्क़ तो वो है जो तुम्हें किसी और का नां होने दे...!
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@Naushadkhan5577
Naushad khan
1 year
मजहब के नाम पर जुल्म व सितम हम नहीं करते..वफा के आड़ में सियासत हम नहीं करते..जमीं के अन्दर भी जाते हैं तो गुशल करके ..वतन की मिट्टी को नापाक़ हम नहीं करते...!
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@Naushadkhan5577
Naushad khan
2 years
दुआ की कुबुलियत पे कभी शक़ ना करें क्यूंकि वो मेरा *रब* बेशक़ जानता है कि 'बन्दे' को कब और कहां क्या अता़ करना है...!
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@Naushadkhan5577
Naushad khan
1 year
किसी का दिल मत दुखाओ हो सकता है कि वो तुम्हें ऐसे चाहता हो जैसे कि मरने वाला जिन्दगी चाहता है...!
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@Naushadkhan5577
Naushad khan
1 year
किसी इंसान की सबसे अच्छी किताब सबसे अच्छी तश्वीर खुद की अपनी जिंदगी है कभी तन्हाई में बैठकर खुद को पढे़ और देखें की इसमें इस्लाह की कितनी गुंजा़इश है...!
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@Naushadkhan5577
Naushad khan
2 years
मंजिल ना दे,चराग ना दे,हौसला तो दे.. तिनके का ही सही मगर तू आसरा तो दे.. मैने कब कहा की मेरे हक़ में हो जवाब.. लेकिन खामोश क्यू है कोई फैसला तो दे.. बेश्क़ मेरे नसीब पर रख अपना इख्ति़यार.. लेकिन मेरे नसीब में क्या है बता तो दे,,
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@Naushadkhan5577
Naushad khan
2 years
किसी इन्सान को कोई चीज उतना नहीं बदलती जीतना उसके दिल पे गुज़री हुई तक़लीफें उसे बदल देती हैं और तक़लीफें भी वो जो उसने तन्हा झेली होती हैं...!
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@Naushadkhan5577
Naushad khan
2 years
अमल से भी मांगा वफा से भी मांगा.. तुझको मैंने तेरी रजा़ से भी मांगा.. जो कुछ ना हो सका तो दुआ में भी मांगा.. 'खु़दा' की कसम मैने तुझे 'खु़दा' से भी मांगा..
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@Naushadkhan5577
Naushad khan
2 years
میں جنت کے شوق میں عبادت نہیں کرتا۔۔یہ تجارت ہے اور نہ ہی جہنم کےخوف سے کرتا ہوں کی یہ غلامی ہے۔۔میں صرف اور صرف اس لیے عبادت کرتا ہوں کہ میرا رب عبادت کے لاءق ہے۔۔۔
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@Naushadkhan5577
Naushad khan
1 year
**السلام وعلیکم** ऐ मालिक ए का़यनात मेरे **अल��लाह** तमाम इन्सानों की दिली मुरादें जा़यज़ ख्वाहिशें, उम्मीदें पुरी फ़रमा ऐ मेरे *रब* उनको इज्जत सेहत,मुहब्बत, दौलत ,शफ़कत ,रहमत व कुशादा रिज़्क अता कर.. ऐ मेरे **अल्लाह* उनको हर दुख, दर्द ,तक़लीफ, परेशानी से महफुज़ फरमा...! आमीन्
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@Naushadkhan5577
Naushad khan
2 years
Asslam walaikum...
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@Naushadkhan5577
Naushad khan
2 years
कितनी आसानी से लोग कह देते हैं.. रात गयी बात गयी उनको कौन बताए दिल पर लगने वाली बातों का भुलाने में रात नहीं..जिन्दगी छोटी पड़ जाती है..!
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@Naushadkhan5577
Naushad khan
2 years
यकिन ऐसा रखो के आगे समन्दर हो और तुम्हारा दिल कहे... रास्ता मेरा *अल्लाह* बनायेगा...!
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@Naushadkhan5577
Naushad khan
2 years
मेरी तक़लीफ़ भी खुबसुरत एहसास दे जाती है ... जब दिल में ये ख़्याल आता है कि मेरा **अल्लाह** मेरे दिल का हाल जानता है..!
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@Naushadkhan5577
Naushad khan
2 years
मेरा ** अल्लाह** फरमाता है... ऐ बन्दे...कितना भी जीना मुश्किल हो तू रहम मांग, हौसला मांग लेकिन कभी अपने लिए मौत या अजा़ब ना मांग ऐसा सिर्फ़ वो करते हैं जिन्हें मुझ पर यकिन नहीं भरोसा नहीं मैं तो पत्थर में भी किडे़ की मदद् करता हूं ... तू तो फिर भी इन्सान है....!
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@Naushadkhan5577
Naushad khan
2 years
ऐ मुहब्बत तेरे अंजा़म पे रोना आया जाने क्यूं आज तेरे नाम पर रोना आया, यूं तो हर शाम उम्मीदो में गुज़र जाती है आज कुछ बात है जो शाम पे रोना आया, जब हुआ जिक़र् जमाने में मशरत का मुझको अपने दिल ए नाका़म पे रोना आया...!
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@Naushadkhan5577
Naushad khan
1 year
दोस्तो... रिश्ता बनाओ तो आंखें और पलकों जैसा जब आंख में कुछ चला जाये तो पलकें तड़प उठती हैं और जब पलकें कुछ देर ना झपकें तो आंखें रो पड़ती हैं ...!
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